इंजीनियरिंग कितने प्रकार की होती है? Engineering kitne parkar ki hoti hai in Hindi

 हेलो दोस्तों स्वागत है आपका मेरे इस नए लेख में, आज हम बात करेंगे इंजीनियरिंग कितने प्रकार की होती है। अगर हम बात करें तो इंजीनियरिंग मुख्यता 20 प्रकार की होती है और ज्यादातर लोगों को इंजीनियरिंग के चार से पांच प्रकार ही पता होते हैं और वह उन्हीं में से एक इंजीनियरिंग कर लेते हैं।

अगर आपको इंजीनियरिंग की फील्ड में जाना है और इंजीनियर बनना चाहते हैं तो इसके लिए आपको BTech करना होता है दोस्तों आज के इस लेख में हम इसी topic के बारे में और इसी topic से related पूरा बात करने वाले हैं।

बीटेक क्या होता है?

BTech - Bachelor of Technology 

Duration - 4 years

12वीं के बाद इंजीनियरिंग कोर्स :—

अगर आप इसको करना चाहते हैं तो आप 12th पास होने चाहिए फिजिक्स केमिस्ट्री और मैथ PCM सब्जेक्ट के साथ तभी आप इसको कर सकते हैं। अगर आपने फिजिक्स केमिस्ट्री मैथ PCM से नहीं की है 12th कक्षा तो आप 10th कक्षा के बाद डिप्लोमा कर सकते हैं और डिप्लोमा होने के बाद आप BTech कर सकते हैं। अगर आप अच्छे कॉलेज में एडमिशन लेना चाहते हैं तो आपकी मिनिमम 60% होनी चाहिए तभी आपको अच्छे कॉलेज में एडमिशन मिलेगा।

इंजीनियर कितने प्रकार के होते हैं Engineering kitne parkar ki hoti hai in Hindi :-

आपको यह पता होना चाहिए कि इंजीनियरिंग कितने प्रकार की होती है क्योंकि आपको अपने इंटरेस्ट के हिसाब से आपको ब्रांच का सिलेक्शन करना होता है कि आपको किस ब्रांच में इंजीनियरिंग करनी है। आपका आपकी रूचि किस क्षेत्र में हैं और आपको पता होना चाहिए कि उस क्षेत्र में कौन सी इंजीनियरिंग कोर्स होता है।

20 Type of Engineering:-


    1. Aeronautical Engineering (एरोनॉटिकल इंजीनियरिंग) :-  

    अगर हम बात करें एयरोनॉटिकल इंजीनियरिंग की तो एयरक्राफ्ट, स्पेसक्राफ्ट, मिसाइल इन सब की डिजाइनिंग का काम होता है एक एयरोस्पेस इंजीनियर का और एक एरोनॉटिकल इंजीनियर की मैथ और फिजिक्स इन दोनों सब्जेक्ट में अच्छी कमांड होनी चाहिए अगर आपको एक अच्छा एरोनॉटिकल इंजीनियर बनना है। इसके बारे में अधिक जानने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें।  


    2. Agriculture Engineering (एग्रीकल्चर इंजीनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें एग्रीकल्चर इंजीनियरिंग की तो वह ब्रांच इंजीनियरिंग की जहां पर फार्मिंग से संबंधित उपकरण को डिजाइन किया जाता है और कैसे टेक्नोलॉजी के साथ एग्रीकल्चर इंडस्ट्री का विकास होता हैं यह सब सिखाया जाता है एग्रीकल्चर इंजीनियरिंग में और इस इंजीनियरिंग की डिमांड मार्केट में हमेशा रहती है। इसके बारे में अधिक जानने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें।  


    3. Automobile Engineering (ऑटोमोबाइल इंजीनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें ऑटोमोबाइल इंजीनियरिंग की तो ब्रांच ऑफ इंजीनियरिंग जिसमें मैन्युफैक्चरिंग, डिजाइनिंग और ऑपरेटिंग सिखाया जाता है वेरियस ऑटोमोबाइल्स का मतलब कार, ट्रक और बस इत्यादि का इसमें आपको बड़ी-बड़ी कंपनी में जॉब मिल जाती है जो ऑटोमोबाइल कंपनियां होती हैं वहां पर ऑटोमोबाइल इंजीनियर की बहुत अधिक डिमांड होती है। इसके बारे में अधिक जानने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें।  


    4. Biomedical Engineering (बायोमेडिकल इंजीनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें बायोमेडिकल इंजीनियरिंग की तो जिसमें मेडिकल साइंस और इंजीनियरिंग दोनों को जोड़ कर हेल्थ केयर इंडस्ट्री में वर्क होता है। अगर इस में बात करें तो शरीर के हिस्सों के डिजाइन बनाए जाते हैं यह एक बहुत ही अद्वितीय और सम्मानीय कैरियर है जहां पर नियमित नवाचार करना जरूरी है। इसके बारे में अधिक जानने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें।  


    5. Chemical Engineering (केमिकल इंजीनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें केमिकल इंजीनियरिंग की तो जिसमें फिजिक्स केमिस्ट्री और बायोलॉजी के प्रिंसिपल को अप्लाई किया जाता है और दवाएं, भोजन और चिकित्सा तैयार होते हैं। आपको नियमित रूप से अनुसंधान करना होता है जिससे आप अपने निर्माण प्रक्रिया में सुधार कर सको। इसके बारे में अधिक जानने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें।  


    6. Civil Engineering (सिविल इंजीनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें सिविल इंजीनियरिंग की तो ओल्ड स्कूल ब्रांच ऑफ इंजीनियरिंग है जहां पर कंस्ट्रक्शन और डिजाइनिंग होती है विभिन्न बुनियादी ढाँचे का बुनियादी ढाँचे का मतलब सड़क, बांध, पुल इत्यादि। अलग - अलग प्रकार के विशेषज्ञता हैं जो आप इस फील्ड में कर सकते हैं जैसे लैंड डेवलपमेंट, एनवायरमेंटल इंजीनियरिंग, अर्बन इंजीनियरिंग। इसके बारे में अधिक जानने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें।  


    7. Computer Engineering (कंप्यूटर इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें कंप्यूटर इंजीनियरिंग की तो यह ब्रांच सबसे लोकप्रिय मानी जाती हैं और ज्यादातर स्टूडेंट्स इसी ब्रांच में जाना चाहते हैं कंप्यूटर इंजीनियरिंग में आपको कंप्यूटर के बारे में बताया जाता है और इसमें बहुत सी जगह में आप जॉब पा सकते हैं कंप्यूटर इंजीनियरिंग बहुत ही लोकप्रिय इंजीनियरिंग है। इसके बारे में अधिक जानने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें।  

    8. Electronics and telecommunication Engineering (इलेक्ट्रॉनिक्स एंड टेलीकम्युनिकेशन इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें इलेक्ट्रॉनिक्स एंड टेलीकम्युनिकेशन इंजीनियरिंग की तो यह वह ब्रांच ऑफ़ इंजीनियरिंग है जहां पर टेलीकम्युनिकेशन उपकरण को डिजाइन करना सिखाया जाता है। अलग सर्किट के प्रोटोटाइज होते हैं और स्टूडेंट को टेलीकम्युनिकेशन से रिलेटेड ट्रेनिंग दी जाती है PCM स्ट्रीम ऑफ स्टूडेंट इस कैरियर को अपना सकते हैं। इसके बारे में अधिक जानने के लिए लिंक पर  क्लिक करें।


    9. Geological Engineering (जियोलॉजिकल इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करेंगे जियोलॉजिकल इंजीनियरिंग की तो जहां पर माइनिंग, फॉरेस्ट्री और जियोग्राफी इन सब फील्ड में काम होता है। वातावरण में ऐसा कौन सा हिस्सा है जहां खनिज जमा होना या फिर जीवाश्म ईंधन, यह सब मिल सकते हैं तो इन सब प्रोसेस का इन्वेस्टिगेशन का काम होता है जियोलॉजिकल इंजीनियर का।


    10. Industrial Engineering (औद्योगिक इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें और योगिता इंजीनियरिंग की तो यह इंजीनियरिंग होती है जो बिजनेस और इंजीनियरिंग के सेंटर में होती है यह अलग-अलग प्रकार की प्रोसेस के साथ काम को बढ़ाते हैं और कोशिश करते हैं कि कैसे दक्षता लाई जा सके डिफरेंट वर्क्स में कैसे समय समाप्त किया जाएगा कैसे उर्जा बचत की जाएगी कैसे धन का इष्टतम उपयोग होगा यह सारा work profile है इंडस्ट्रियल इंजीनियरिंग का।


    11. Marine Engineering (मरीन इंजीनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें मरीन इंजीनियरिंग की तो इसको प्यार से ओशन इंजीनियरिंग भी कहा जाता है यह लोग डिजाइन डेवलपमेंट और मेंटेनेंस सब कुछ करते हैं, पानी के ऊपर और पानी के अंदर चलने वाले उपकरणों की अगर बात करें उदाहरण की तो इसमें जहाज और पनडुब्बी आते हैं।


    12. Material Engineering (मैटेरियल इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें मेटेरियल इंजीनियरिंग की तो नाम से ही पता चल रहा है मटेरियल बनाने का और उसको स्टडी करने का काम होता है। मेटेरियल इंजीनियर का डिफरेंट मैटेरियल्स जैसे प्लास्टिक, मिट्टी के पात्र के माध्यम से उद्योगों की विशिष्ट आवश्यकताएं को पूर्ण भराव किया जाता है जितनी भी तरह की इंजीनियरिंग है उनका आधार है मेटेरियल इंजीनियरिंग


    13. Mechanical Engineering (मैकेनिकल इंजीनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें मैकेनिकल इंजीनियरिंग की तो जहां पर डिजाइनिंग होती है बिजली पैदा करने वाली मशीनें, जेनसेट, टर्बाइन, इंजन और उसके अलावा मशीनों का उपयोग कर शक्ति की जैसे रेफ्रिजरेटर एंड AC's और इसके अलावा लिफ्ट, एलिवेटर्स, सेंसर, उपकरण सब कुछ मैकेनिकल इंजीनियर डिजाइन करते हैं यह एक बहुत ही लोकप्रिय इंजीनियरिंग है। इसके बारे में अधिक जानने के लिए लिंक पर  क्लिक करें।  



    14. Mining Engineering (माइनिंग इंजिनियरिंग) :—

    बात करें माइनिंग इंजीनियरिंग की तो यह वह ब्रांच ऑफ इंजीनियरिंग है जहां पर साइंस और टेक्नोलॉजी को अप्लाई किया जाता है और जमीन से खनिजों को निकाला जाता है। अगर आपको अपना करियर माइनिंग इंडस्ट्री में बनाना है तो आप माइनिंग इंजीनियरिंग कर सकते हैं।


    15. Nuclear Engineering (न्यूक्लियर इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें न्यूक्लियर इंजीनियरिंग की दो यह वह ब्रांच ऑफ इंजीनियरिंग है जहां पर बात होगी सिर्फ न्यूक्लियर प्रोसेस इसकी Fission and Fusion इसके अलावा डिजाइन, इंटरेक्शन एंड मेंटेनेंस ऑफ न्यूक्लियर रिएक्टर्स, न्यूक्लियर पावर प्लांट, न्यूक्लियर वेपन, थर्मोडायनेमिक्स। 

    बहुत सारे प्राइवेट और गवर्नमेंट कॉलेजेस है जो आपको न्यूक्लियर साइंस में डिग्री प्रोवाइड करते हैं अगर आपको इस फील्ड में अपना करियर बनाना है तो आप न्यूक्लियर इंजीनियरिंग कर सकते हैं।


    16. Petroleum and Petrochemical Engineering (पैट्रोलियम एंड पेट्रोकेमिकल इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें पैट्रोलियम एंड पेट्रोकेमिकल इंजीनियरिंग की तो यह वह ब्रांच ऑफ इंजीनियरिंग है जहां पर निकास होता है प्राकृतिक गैस और पेट्रोल का। अलग – अलग परिणाम को समुद्र में और जमीन पर पहचान किया जाता है और वहां पर पूरा सेटअप लगाया जाता है उसके बाद वहां से निकास किया जाता है प्राकृतिक गैस और पेट्रोल का।


    17. Process Engineering (प्रोसेस इंजीनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें प्रोसेस इंजीनियरिंग की तो जितनी भी इंजीनियरिंग का मैंने अभी तक इस लेख में आपको बताया उन सब का सामान्य आधार है प्रोसेस इंजीनियरिंग। इसका मतलब होता है प्रकृति के बुनियादी कानून और सिद्धांत को जानना और उसके आधार पर कच्चा माल और ऊर्जा को फिनिश कोर्स में कन्वर्ट करना जिससे सोसाइटी का उद्धार हो सके।


    18. Production Engineering (प्रोडक्शन इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें प्रोडक्शन इंजीनियरिंग की तो नाम से ही पता चल रहा है प्रोडक्शन प्रोसेस को स्मूथली स्मूथ करना और इकोनॉमिक बनाने का काम होता है। प्रोडक्शन इंजीनियर का मैन्युफैक्चरिंग टेक्नोलॉजी, इंजीनियरिंग साइंस, एंड मैनेजमेंट साइंसेज के माध्यम से डिफरेंट प्रोसेस को परिशोधित करने का काम होता है।


    19. Rubber and Plastic Technology Engineering ( रबर एंड प्लास्टिक टेक्नोलॉजी इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें रबर एंड प्लास्टिक टेक्नोलॉजी इंजीनियरिंग की दो यह ब्रांच डील करती है नेचुरल रबर, सिंथेटिक रबर, लेटेक्स और प्लास्टिक में, इन सब मेटेरियल का प्रयोग करके विभिन्न उत्पाद को आकार दिया जाता है अगर मैं बात करूं कुछ उदाहरण के तो — स्टेशनरी, म्यूजिकल इंस्ट्रूमेंट्स,  ऑटोमोबाइल्स, वाशर्स यह सब इसके उदाहरण है।


    20. Textile Engineering (टैक्सटाइल इंजिनियरिंग) :—

    अगर हम बात करें टैक्सटाइल इंजीनियरिंग की तो यह वह ब्रांच ऑफ इंजीनियरिंग है जहां पर गारमेंट्स और गारमेंट्स फैब्रिक्स से रिलेटेड डील होती है।

    टैक्सटाइल इंजीनियरिंग के कुछ कानून और सिद्धांत हैं जिनका प्रयोग किया जाता है प्रोडक्शन और डेवलपमेंट में, टैक्सटाइल फैब्रिक की ज्यादातर जिन लोगों की फैक्ट्रीज होती है चाहे वह छोटी हो या बड़ी हो ज्यादातर वही लोग इस फील्ड में अपने करियर को बनाते हैं।

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